Thursday, August 29, 2019

सरकार व पुलिस प्रशासन से अपील करता हूं! कि वह खुद व गुंडे बदमाशों एव माफ़ियाओं को संरक्षण दे कर पत्रकारों का उत्पीड़न कराना तथा पत्रकारों पर अत्याचार कराना बंद करें नहीं तो वह दिन दूर नहीं जब इस देश की जनता गुंडे बदमाशों व माफ़ियाओं के अत्याचार से तंग आकर आत्मदाह करने को मजबूर होंगे, उस समय सरकार एवं पुलिस प्रशासन के पास पछतावे के अलावा कुछ नहीं रहेगा: महराब चौधरी


सरकार व पुलिस प्रशासन से अपील करता हूं! कि वह खुद व गुंडे बदमाशों एव माफ़ियाओं को संरक्षण दे कर पत्रकारों का उत्पीड़न कराना तथा पत्रकारों पर अत्याचार कराना बंद करें नहीं तो वह दिन दूर नहीं जब इस देश की जनता गुंडे बदमाशों व माफ़ियाओं के अत्याचार से तंग आकर आत्मदाह करने को मजबूर होंगे, उस समय सरकार एवं पुलिस प्रशासन के पास पछतावे के अलावा कुछ नहीं रहेगा: महराब चौधरी 


रिपोर्ट- गुलवेज सिद्दीकी कैराना 

प्रेस क्लब कैराना (रजि•) के अध्यक्ष  महराब चौधरी ने जानकारी देते हुए बताया कि पत्रकारों पर बढ़ते अत्याचार और पत्रकारों का हो रहे उत्पीड़न के खिलाफ़ आज दिनांक 30 अगस्त दिन शुक्रवार को जनपद शामली में समस्त पत्रकारों की ओर से शामली कलेक्ट्रेट पर अनिश्चितकालीन धरना प्रदर्शन शुरू होगा जिसमें पत्रकारों के हकों की लड़ाई लड़ी जाएगी
                         प्रेस क्लब कैराना (रजिस्टर्ड) के अध्यक्ष महराब चौधरी ने कहा कि प्रेस क्लब कैराना (रजि•) पत्रकारों के मान सम्मान की लड़ाई में समस्त पत्रकार बंधुओं के साथ कंधे से कंधा मिलाकर तन-मन-धन से अपने पत्रकार भाइयों के साथ है!
                        श्री महराब चौधरी ने कहा कि अगर पत्रकारों का उत्पीड़न बंद ना हुआ और पत्रकारों पर बढ़ते अत्याचार पर सरकार और पुलिस प्रशासन ने रोक नहीं लगाई तो शामली से शुरू हो रहा यह धरना प्रदर्शन पूरे देश में शुरू होगा और पत्रकार सड़कों पर उतर कर आंदोलन करने पर मजबूर होंगे
           प्रेस क्लब कैराना (रजि•) के अध्यक्ष महराब चौधरी ने कहा कि आजकल देश में चारों ओर पत्रकारों का उत्पीड़न किया जा रहा है! तथा अवैध कार्य करने वाले तस्कर , भू-माफिया , गुंडे , बदमाश तो पत्रकारों पर अत्याचार करते ही हैं! मगर दु:ख की बात यह है! कि पुलिस और प्रशासन भी पत्रकारों पर कम अत्याचार नहीं कर रहा है!
                       श्री महराब चौधरी ने कहा की पत्रकार देश के लोकतंत्र का चौथा स्तंभ है! और जब देश के लोकतंत्र का चौथा स्तंभ ख़तरे में हैं? तो फ़िर आखिर सुरक्षित कौन हैं?
                  श्री महराब चौधरी ने कहा कि जब कानून के रखवाले पुलिस प्रशासन ही पत्रकारों का सबसे ज्यादा उत्पीड़न कर रहा है! और अत्याचार कर रहा है! इससे बड़ी दु:ख की बात कोई और नहीं हो सकती
                  श्री महराब चौधरी ने कहा कि आज के समय में माफियाओं और गुंडे-बदमाशों से ज्यादा पुलिस-प्रशासन पत्रकारों का उत्पीड़न वह पत्रकारों पर अत्याचार करने में लगा हुआ है!
                   श्री महराब चौधरी ने कहा कि पत्रकार और पुलिस प्रशासन का चोली दामन का साथ होता है! तथा पत्रकार हमेशा पुलिस प्रशासन का आंख बंद करके भरपूर सहयोग करते हैं! और अपनी जान पर खेलकर समाचार संकलन करते हैं! मगर पता नहीं क्यों ?? पुलिस प्रशासन पत्रकारों से ऐसे रंजिश रखता है? जैसे पत्रकार कोई आतंकवादी हो ??
                                   प्रेस क्लब कैराना (रजि.) के अध्यक्ष श्री महराब चौधरी ने कहा कि अगर पुलिस-प्रशासन ने पत्रकारों का उत्पीड़न और पत्रकारों पर अत्याचार करना बंद नहीं किया तो वह दिन दूर नहीं जब पूरे भारतवर्ष का पत्रकार सड़कों पर उतर कर संघर्ष करने को मजबूर होगा
                            श्री महराब चौधरी ने कहा कि पुलिस प्रशासन को तो पत्रकारों का सहयोग उसी प्रकार करना चाहिए जिस प्रकार पत्रकार पुलिस प्रशासन का सहयोग करता है!
                         उन्होंने कहा कि अगर पुलिस-प्रशासन ने पत्रकारों का  उत्पीड़न और पत्रकारों पर हो रहे अत्याचार को बंद नहीं किया तथा पत्रकारों की सुरक्षा नहीं की तो शामली की धरती से शुरू हो रहा यह आंदोलन समस्त भारतवर्ष में फैलेगा
              श्री महराब चौधरी ने केंद्र एवं राज्य सरकार से भी मांग की कि वह पत्रकारों को सुरक्षा मुहैया कराए तथा ""पत्रकार सुरक्षा विधेयक"" को सदन में पास कराएं और पुलिस प्रशासन को आदेशित किया जाए की बिना कारण पत्रकारों का उत्पीड़न और उन पर अत्याचार ना किया जाये
                 श्री महराब चौधरी ने कहा कि अगर कोई पत्रकार गलती करता है! या कानून को तोड़ता है! तो आप उसकी निष्पक्ष जांच करके उसे सजा दीजिए
                         मगर बिना कारण पत्रकारों का उत्पीड़न और पत्रकारों पर हो रहा अत्याचार अब बर्दाश्त नहीं किया जाएगा लोकतंत्र के इस चौथे स्तंभ ने बहुत उत्पीड़न सह लिया है! बहुत अत्याचार बर्दाश्त कर लिया है!
                         प्रेस क्लब कैराना (रजि) के अध्यक्ष महराब चौधरी ने कहा कि सरकार और पुलिस के लिए शर्म की बात है कि पत्रकार धरना प्रदर्शन करने पर मजबूर हो गया इससे शर्मनाक बात इस देश की सरकार और पुलिस-प्रशासन के लिए और क्या हो सकती है??
                  उन्होंने कहा कि जनता हमेशा पत्रकारों द्वारा टीवी चैनलों पर दिखाई गई न्यूज़ और अखबारों में प्रकाशित होने वाले समाचारों पर विश्वास करती है! क्योंकि पत्रकार जनता को अपनी जान दांव पर लगाकर सच से अवगत कराता है!
                         मगर पुलिस प्रशासन हमेशा पत्रकारों के साथ सौतेला व्यवहार करता है!
                              और पुलिस-प्रशासन प्रशासन इसी ज़ुस्तज़ू में रहती है! कि कैसे पत्रकारों को किसी झूठे मुकदमों में फंसाया जाए या कैसे पत्रकारों का उत्पीड़न किया जाए या कैसे पत्रकारों पर अत्याचार किया जाये
                             श्री महराब चौधरी ने कहा कि मैं सरकार और पुलिस-प्रशासन से पूछना चाहता हूं?? कि आखिर पत्रकारों ने ऐसी कौन सी गलती की है? कि आप पत्रकारों के पीछे हाथ धोकर नहीं बल्कि नहा धोकर पीछे पड़े हो
                              उन्होंने कहा कि सबसे बड़ी शर्मनाक बात तो यह है? कि पुलिस-प्रशासन ख़ुद तो पत्रकारों का उत्पीड़न करता है! वह गुंडे-बदमाशों और माफ़ियाओं को भी संरक्षण देकर पत्रकारों पर अत्याचार करने को कहता है!
                          उन्होंने कहा कि जब तक गुंडे,बदमाशों और माफ़ियाओं को पुलिस प्रशासन का संरक्षण प्राप्त होता रहेगा और वह पत्रकारों का उत्पीड़न करते रहेंगे और पत्रकारों पर अत्याचार करते रहेंगे तो गुंडे और बदमाशों तथा माफियाओं का हौसला बुलंद होगा और वह जनता पर भी उत्पीड़न करेंगे और उनका पर भी अत्याचार करेंगे
                   श्री महराब चौधरी ने कहा कि इसलिए मैं सरकार और पुलिस प्रशासन से अपील करता हूं! कि वह गुंडे बदमाशों और माफ़ियाओं को संरक्षण देना बंद करें नहीं तो वह दिन दूर नहीं जब इस देश की जनता गुंडे बदमाशों और माफ़ियाओं का अत्याचार से तंग आकर आत्मदाह करने को मजबूर होंगे
                  प्रेस क्लब कैराना (रजि•) के अध्यक्ष श्री महराब चौधरी ने कहा कि अगर पुलिस-प्रशासन और सरकार ने अपने रवैया को नहीं बदला तो वह दिन दूर नहीं जब इस देश में त्राहि-त्राहि मच जाएगी 
                   और उसके बाद पुलिस प्रशासन और सरकार के पास पछतावे के अलावा कुछ नहीं होगा तब सरकार और पुलिस प्रशासन सोचेगा कि उन्होंने तो पत्रकारों का उत्पीड़न किया ही है! मगर उन्होंने गुंडे बदमाशों और माफ़ियाओं को संरक्षण देकर जो पत्रकारों का उत्पीड़न कराया है! वह उनसे बड़ी भूल हो गई है! मगर उस समय पछतावे के अलावा कुछ और नहीं होगा क्योंकि उन गुंडे बदमाशों और माफ़ियाओं का होंसला उस समय तक इतना बढ़ चुका होगा कि वह जनता पर अपना क्रूर अत्याचार करना शुरू कर देंगे तथा सरकार और पुलिस प्रशासन हाथ मलते रह जाएगी
                                  प्रेस क्लब कैराना (रजि•) के अध्यक्ष श्री महराब चौधरी ने जनपद के समस्त पत्रकारों से अपील करते हुए कहा कि वह सुबह 30 अगस्त दिन शुक्रवार को प्रातः 10:00 बजे तक अपने मान सम्मान और स्वाभिमान की रक्षा की लड़ाई लड़ने के लिए शामली कलेक्ट्रेट में शुरू हो रहे अनिश्चितकालीन धरने पर पहुंचे और तब तक धरने पर डटे रहें जब तक पुलिस प्रशासन तथा गुंडे बदमाश और माफ़िया पत्रकारों पर अत्याचार करना और पत्रकारों का उत्पीड़न करना बंद ना कर दें तथा सरकार और पुलिस-प्रशासन पत्रकारों की सुरक्षा की व्यवस्था नहीं करती 
               प्रेस क्लब कैराना (रजि•) के अध्यक्ष श्री महराब चौधरी ने केंद्र व राज्य सरकार से सदन में ""पत्रकार सुरक्षा विधेयक"" पास कराने की मांग भी की

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